पहलगाम में हुए आतंकवादी हमले के करीब दो हफ्ते बाद, भारत ने "ऑपरेशन सिंदूर" के तहत सख्त कार्रवाई करते हुए आतंकियों के खिलाफ निर्णायक हमला बोला है। इस कार्रवाई की जानकारी अमेरिका, रूस और ब्रिटेन सहित प्रमुख देशों को आधी रात के वक्त दे दी गई थी।
भारतीय सैन्य बलों ने पाकिस्तान और पाकिस्तान अधिकृत कश्मीर (PoK) में करीब 100 किलोमीटर के दायरे में आतंकवादियों के 9 ठिकानों को चुनकर तबाह किया। खुफिया सूत्रों के अनुसार, इन ठिकानों की पहले पहचान कर निगरानी की गई थी और फिर लक्ष्य बनाकर उन्हें मिटा दिया गया।
भारतीय वायुसेना की इस ऑपरेशन में जैश-ए-मोहम्मद के 4, लश्कर-ए-तैयबा के 3 और हिज्बुल मुजाहिदीन के 2 ठिकाने शामिल थे। सभी कैंप वो थे, जिनका संबंध भारत में हुए आतंकी हमलों से था।
सबसे बड़ा हमला बहावलपुर में हुआ, जो कि जैश-ए-मोहम्मद का मुख्यालय माना जाता है। इसे पूरी तरह से नष्ट कर दिया गया है। इसके अलावा, लश्कर और हिज्बुल के कई शिविरों को भी ध्वस्त कर दिया गया।
लश्कर-ए-तैयबा का मुरीदके स्थित कैंप, जो 26/11 मुंबई हमले के आरोपियों से जुड़ा था, उसे भी खत्म कर दिया गया। तीसरा हमला गुलपुर में हुआ, जहां से पिछले साल पुंछ और इस साल जून में यात्रियों की बस पर हमला हुआ था।
तंगधार क्षेत्र के भीतर मौजूद सवाई कैंप को भी नष्ट किया गया। यह वही कैंप है जो सोनमर्ग, गुलमर्ग और हालिया पहलगाम हमले के लिए जिम्मेदार था।
जैश, लश्कर और हिज्बुल के अन्य कैंप तबाह
1. बिलाल कैंप (जैश का लॉन्चपैड)
2. कोटली कैंप (लश्कर का बम प्रशिक्षण केंद्र)
3. बरनाला कैंप (हिज्ब का ट्रेनिंग बेस)
4. सरजाल कैंप (जैश से जुड़ा ठिकाना)
5. महमूना कैंप (सियालकोट के पास हिज्ब का ठिकाना)