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1 जनवरी - वर्ष 2018 में आज ही जिहादियों से लड़ कर कश्मीर में अमर हुए CRPF के 5 वीर बलिदानियों को अश्रुपूरित श्रद्धांजलि

कथित जश्न में डूबे कईयों को सम्भवतः पता ही न हो आज की ये घटना.

Rahul Pandey
  • Jan 1 2021 12:52PM
संभवतः तमाम लोगो को ये पता भी नही होगा कि आज ऐसा क्या हुआ था जो देश भर के लिए शोक का विषय है..कुछ को तो ये भी नही पता होगा कि पुलवामा है किधर..तमाम को आज के इतिहास में यही पता होगा कि आज उनके हिसाब से नया साल है और इस दिन के लिए उन्होंने लंबे समय से तैयारी की रही होगी, वो भी पूरे परिवार के साथ.. 

कुछ पहाड़ो पर चले गए होंगे तो कुछ ने अपने ही घर के आस पास DJ बजा कर फुलझड़ी पटाखे आदि फोड़ कर ये दिन मनाया होगा..लेकिन अपने ही भारत मे तमाम ऐसे परिवार हैं जिन्होंने आज ही के दिन अपनो को खो दिया , उन अपनो को जो लड़ रहे थे देश के दुश्मनों से, इस देश की रक्षा के लिए.. 

शोर शराबे उनके बगल भी हो रहे थे पर वो जश्न के पटाखे नहीं बल्कि जंग की बंदूकें थी..ध्यान दें कि वर्ष 2018 में आज के ही दिन भारत ने अपने 5 जांबाज़ CRPF के जवानों को सदा के लिए खो दिया था जैश नाम इस्लामिक आतंकियों के समूह के 3 गद्दारों से लड़ते हुए.. 

इसमें से एक तो कश्मीर पुलिस के स्टाफ का बेटा था जो नाबालिग था..उसके इतने बड़े कुकृत्य पर देश हतप्रभ था जबकि भारत का कानून नाबालिगों से नरमी दिखाने की वकालत करता है ..रात 2 बजे दबे पांव हमला करने वालों को वीरों ने उचित उत्तर दिया था और मार गिराया था लेकिन तब तक देश के लिए लड़ने वाले 5 चिराग बुझ चुके थे..

हमलावर गद्दारों का वीडियो भी सामने आया था जिसमें से एक नए तो बाकयदा खुद को जन्नत जाने की राह पर अग्रसर बताया था..आज उन्ही गद्दारों से भारत भूमि की रक्षा करते हुए अमरता को प्राप्त करने वाले 5 वीरो का बलिदान दिवस है..

पुलवामा जिले के लेथपुरा में 1 जनवरी 2018 को जनवरी तडके आतंकवादियों ने अर्द्धसैनिक बल के शिविर पर हमला कर दिया था जिसमें सीआरपीएफ के पांच जवान वीरगति को प्राप्त हो गये थे जबकि तीन अन्य घायल हो गये थे. पाकिस्तान के आतंकवादी संगठन जैश-ए-मोहम्मद ने इस हमले की जिम्मेदारी ली थी. 

जिन दो आतंकवादियों के शव कल बरामद किये गये थे उनकी पहचान मंजूर अहमद बाबा और फरदीन अहमद खानडे के रुप में हुई थी। फरदीन एक पुलिसकर्मी का कुपुत्र था..एक बलिदानी के बेटे ने तब कहा था कि, आतंकवाद खत्म नहीं हो रहा, हमारे देश के जवान अपनी शहादत दे रहे हैं, हमें कुछ करना होगा. 

पूरी दुनिया में पाकिस्तान से बुरा देश कोई नहीं है. स्थानीय आतंकियों ने फिदायीन हमला किया है. हमले की जिम्मेदारी आतंकी संगठन जैश -ए -मोहम्मद ने लिया था. मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक सीआरपीएफ के पास इस बात के इनपुट्स थे कि इस तरह के हमले हो सकते हैं.

उस कैंप में सीआरपीएफ के नये कमांडो को ट्रेनिंग मिलती थी जिसके चलते वो वतन के गद्दारों के निशाने पर था. घटना के बाद जम्मू-कश्मीर पुलिस की कमांडो टीम और आर्मी की एक स्पेशल टीम मौके पर पहुंची थी. इन दोनों टीमों ने ही ऑपरेशन को लीड किया. 

सीआरपीएफ के प्रवक्ता राजेश यादव ने बताया था कि दो आतंकियों की पहचान द्रूबगाम (पुलवामा) के मंजूर अहमद बाबा और नजीमपुरा (त्राल) के फरदीन अहमद खानडे के तौर पर हुई थी जिसमें खानडे एक पुलिसकर्मी का बेटा था और दसवी में पढ़ता था लेकिन उसके सर पर कैरियर नही बल्कि कट्टरपंथ का भूत सवार था. खांडे महज तीन महीने से आतंकी संगठन जैश ए मोहम्मद से जुड़ा था. आज वीरता के प्रतीक उन 5 CRPF वीरो को बलिदान दिवस पर शत शत नमन.

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