इस नाम का इस्तेमाल आज भी यथावत किया जाता है. दुनिया को सबसे कम उम्र में जीतने निकले सिकंदर की चर्चा से कहीं ज्यादा हिटलर की चर्चा होती है. भारत में नेताजी सुभाष चंद्र बोस जी शायद संसार के पहले ऐसे व्यक्ति थे जो निर्भीकता सनकी तानाशाह की आंखों में आंख डालकर एक बराबरी के हक से इससे मिले और इसको भारत की चिंताओं से अवगत कराया था. आज भी हिटलर का नाम हर उस व्यक्ति के साथ जोड़ा जाता है जो किसी भी क्षेत्र में किसी भी सनक पर मर मिटने के लिए तैयार हो जाता है. जी हैं आज 30 अप्रैल को उसी हिटलर ने अपने हाथों से अपनी जान दे दी थी..
30 अप्रैल, 1945 ये वो दिन था, जब हिटलर ने आखिरी बार सांस ली थी. इसी दिन उसने खुदकुशी कर ली थी. उसने अपने बंकर में खुद को गोली मार ली. साथ में उसकी गर्लफ्रेंड इवा, जो शायद तब तक बीवी हो चुकी थी. हिटलर की मौत में सबसे बड़ा पहलू यह है कि ईसाई होने के बाद भी हिटलर ने कहा था कि मौत के बाद उसके शव को दफनाया ना जाए बल्कि जलाया जाय. जबकि हिटलर खुद ईसाई पंथ पर था और जलाना हिंदू रीति रिवाज में शामिल है , ऐसे में उसने खुद को जलाने की इच्छा व्यक्त की थी जिसका पालन भी हुआ..
हिटलर काफी तेज़ तर्रार, रूखे स्वभाव वाला एवं निर्दयी इंसान माना जाता था. उन्हें द्वितीय विश्वयुद्ध के लिए सर्वाधिक जिम्मेदार भी माना जाता है. हिटलर के जीवन से जुड़े कई रहस्य हैं, जिन्हें इतिहासकारों ने समय-समय पर सुलझाने की कोशिश की है.यहूदियों से बेतहाशा नफरत करने वाला यह वही हिटलर था जिसने 1993 और 1945 में बीच क्रिसमस की छुट्टियों को खत्म करने की आधिकारिक पहल की. उसने यहूदी और ईसाईयों की होने वाली छुट्टियों पर प्रतिबंध लगाया था. ऐसा माना जाता है कि क्रिसमस पर्व मनाए जाने के पीछे हिटलर की मंशा कुछ और ही थी.
उसके द्वारा बनाए गए मौत के चेंबर में लाखों यहूदियों को मौत के घाट उतार दिया गया था. क्रूरता की सारी हदें पार करने में हिटलर की मदद की थी एक सनकी डॉक्टर ने, जिसका नाम था जोसेफ मेंगले. उसने मासूम लोगों पर मेडिकल के ऐसे-ऐसे एक्सपेरिमेंट किए कि उसके बारे में सोचने मात्र से ही लोगों की रूह कांप जाती हैं! अपनी दरिंदगी के कारण ही वो पूरी दुनिया में 'एंजल ऑफ डेथ' के नाम से फेमस हुआ.
हिटलर की मौत को बेशक 6 दशक से भी ऊपर का वक़्त हो चुका है, पर उससे जुड़ी बातें आज भी लोगों के सामने आती रहती है. सबसे खास चीज़ ये है कि इन बातों के प्रति आज भी लोगों की रूचि कम नहीं हुई है. हाल ही में इस बात का खुलासा हुआ है कि हज़ारों लोगों को मौत की नींद सुलाने वाला हिटलर नशे का आदी था.