इनपुट- श्वेता सिंह, लखनऊ
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने शुक्रवार को स्नातकोत्तर महाविद्यालय के प्रांगण में लहुरी काशी के मालवीय बाबू राजेश्वर प्रसाद सिंह के आदमकद प्रतिमा का अनावरण किया। कार्यक्रम को सम्बोधित करते हुए सीएम योगी ने कहा कि गाजीपुर में शिक्षा का अलख जगाने वाले बाबू राजेश्वर प्रसाद सिंह के प्रतिमा का अनावरण करके मैं अभिभूत हूं।
उन्होने कहा कि इस अवसर पर मैं उन्हे श्रद्धांजलि देता हूं और इस कार्य के लिए महाविद्यालय परिवार को धन्यवाद देता हूं। सीएम योगी ने कहा कि बाबू राजेश्वर प्रसाद सिंह ने 1957 में डिग्री कालेज की स्थापना की जो आज स्नातकोत्तर महाविद्यालय के रुप में 10 हजार छात्र-छात्राओं को शिक्षा प्रदान कर रहा है और पूर्वी उत्तर प्रदेश में शिक्षा का केंद्र बना हुआ है। उन्होने कहा कि बाबू राजेश्वर प्रसाद सिंह से हम लोगों का आत्मीय संबंध था।
यह संयोग है कि यह महाविद्यालय पहले गोरखपुर विश्वविद्यालय से सम्बद्ध था। जब गोरखपुर में 1956-57 में विश्वविद्यालय की स्थापना हो रही थी तब गोरक्षनाथ पीठ ने अपने दो महाविद्यालय देकर विश्वविद्यालय की स्थापना किया था। उसी समय बाबू राजेश्वर प्रसाद सिंह का महाविद्यालय विश्वविद्यालय गोरखपुर से सम्बद्ध हुआ तबसे जो गोरक्षपीठ से सम्बंध बना उन्होने आजीवन इस सम्बंध का निर्वहन किया। उन्होने कहा कि जीवन-पर्यन्त देश-दुनिया में महाविद्यालयों में कहा नये पाठ्यक्रम और शिक्षा हो रही है उसे अपने महाविद्यालय गाजीपुर में लागू कर हम लोगों को भी बताते थे और हम लोग भी अपने महाविद्यालय में लागू कराते थे।
इस अवसर पर कालेज के प्रबंधक, अपर महाधिवक्ता उत्तर प्रदेश सरकार इलाहाबाद हाईकोर्ट अजीत कुमार सिंह ने सीएम येागी ने का माल्यार्पण किया और स्मृति चिह्न देकर सम्मानित किया। कार्यक्रम में आये हुए अतिथियों का स्वागत प्राचार्य प्रो. डा. राघवेंद्र सिंह ने किया। कार्यक्रम में भाजपा के जिला पंचायत अध्यक्ष सपना सिंह, जिलाध्यक्ष भानुप्रताप सिंह, प्रभुनाथ चौहान, पूर्व मंत्री डा. संगीता बलवंत, पूर्व विधायक सुनीता सिंह, पूर्व विधायक सुभाष पासी, युवा नेता पंकज सिंह चंचल, राघवेंद्र सिंह, योगेश सिंह आदि नेता मौजूद थे।