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जल्द आने वाली है 7 से 11 साल के बच्चो की वैक्सीन, आखिरी फेज का ट्रायल जारी...

देश में 7 से 11 साल के बच्चों के लिए कोवोवैक्स वैक्सीन का ट्रायल शुरू हो गया है। कोवोवैक्स वैक्सीन भारत बायोटेक की कोवैक्सीन(Covaxin) और Zydus Cadila की जायकोव-डी(ZyCoV-D) के बाद बच्चों पर ट्रायल किए जाने वाली तीसरी कोरोना वैक्सीन है।

Kartikey
  • Oct 1 2021 9:41AM

देश को अब बहुत जल्द कोरोना की एक और वैक्सीन मिलने वाली है, जो कि  बच्चो के लिए पहली वैक्सीन होंगी। 'कोवोवैक्स' नाम की ये वैक्सीन तीसरे ट्रायल के लिए तैयार है यानी की अब इसका 'ह्यूमन ट्रायल' होगा, जिसके लिए 9 सेंटर बनाये गए है और 9 बच्चो का रजिस्ट्रेशन भी हो गया है। 

दरअसल, पुणे स्थित भारती विद्यापीठ मेडिकल कालेज और अस्पताल में बच्चों के लिए कोवोवैक्स वैक्सीन (Covovax Vaccine) के दूसरे और तीसरे फेज का ट्रायल शुरू हो गया है। कोवोवैक्स वैक्सीन का ट्रायल 7 से 11 साल के बच्चों पर किया जा रहा है। अस्पताल के मेडिकल डायरेक्टर डा. संजय लालवानी ने बताया कि बुधवार को 7 से 11 साल के बच्चों पर कोवोवैक्स के 2/3 फेज का ट्रायल शुरू किया गया है।

इस वैक्सीन के ट्रायल में 9 बच्चों का रजिस्ट्रेशन किया गया है। पुणे स्थित भारती विद्यापीठ मेडिकल कालेज और अस्पताल के मेडिकल डायरेक्टर डा. संजय लालवानी ने बताया कि जो माता-पिता अपने बच्चे का ट्रायल के लिए रजिस्ट्रेशन करना चाहते हैं, उन्हें स्थानीय स्थानीय भाषा में परामर्श दिया जाता है और दृश्य-श्रव्य परामर्श प्रक्रिया का दस्तावेजीकरण किया जाता है।

एक बार जब माता-पिता अपनी सहमति दे देते हैं, तो स्वयंसेवक(वालंटियर) का आरटी-पीसीआर टेस्ट और एक एंटीबाडी टेस्ट किया जाता है। हालांकि, यह उन्हें ट्रायल का हिस्सा बनने से नहीं रोकता है। इस फेज के ट्रायल के लिए पूरे भारत में 9 सेंटर्स की पहचान की गई है, जिसमें भारती विद्यापीठ मेडिकल कॉलेज अस्पताल भी शामिल है। 

नोवावैक्स को अभी नहीं मिली इजाजत

अमेरिकी कंपनी नोवावैक्स की वैक्सीन को अभी भारत में इमरजेंसी इस्तेमाल की मंजूरी नहीं मिली है। सितंबर के आरंभ में सीरम इंस्टीट्यूट के सीईओ अदार पूनावाला ने उम्मीद जताई थी कि अगले साल जनवरी-फरवरी तक 18 साल से कम उम्र के बच्चों के टीके 'कोवोवैैक्स' को लगाने की मंजूरी मिल जाएगी। 

कोवॉक्सिन को डब्ल्यूएचओ की मंजूरी में और देरी '

इस बीच, विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्ल्यूएचओ) ने भारत बायोटेक की स्वदेशी वैक्सीन 'कोवॉक्सिन' को आपात इस्तेमाल की मंजूरी (ईयूए) के लिए कुछ और डाटा मांगा है। इससे इस वैक्सीन को विश्व संस्था की  मंजूरी मिलने में और देरी हो सकती है। इस कारण विदेश जाने वाले भारतीयों की मुसीबत और बढ़ गई है। इनमें बड़ी संख्या में विद्याथी शामिल हैं।

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