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परिवार के लोग हमेशा कहीं-न-कहीं से गाय लेकर आते थे। उसे घर के बाहर कुछ दिनों तक बांधकर रखते थे, लेकिन उसके बाद गाय का कुछ पता नहीं चलता था।