सुदर्शन के राष्ट्रवादी पत्रकारिता को सहयोग करे
बरोड़ा में उन्होंने मिलिट्री ट्रेनिंग ली। इसी समय अरविन्द घोष से प्रभावित होकर उनका झुकाव क्रांतिकारी आन्दोलन की तरफ़ हुआ.