सभी सरकारी अधिकारियों और कर्मचारियों के लिए योगी सरकार का स्पष्ट आदेश है कि " समय से कार्यालय में उपस्थित रहकर प्राथमिकता के आधार पर जनता की समस्याओं का निस्तारण किया जाय" फिर भी तमाम अधिकारी व कर्मचारी सरकार के इस आदेश को ताक पर रखकर बदस्तूर अपनी मनमानी चला रहे हैं। इसी सरकारी आदेश की जमीनी हकीकत जानने के लिए आज मुख्य सचिव राजेन्द्र कुमार तिवारी ने सहकारिता भवन का औचक निरीक्षण किया।
मुख्य सचिव सुबह करीब 9:40 बजे अचानक सहकारिता भवन के अपर आयुक्त एवं अपर निबंधन कार्यालय आ पहुचे। जहां उन्हें करीब 90 प्रतिशत अधिकारी व कर्मचारी गैर हाजिर मिले। मुख्य सचिव के इस तरह अचानक दौरे से पूरे सहकारिता विभाग में हड़कंप मच गया। नाराज मुख्य सचिव ने एक के बाद एक कई अनुभागों का दौरा किया। हर जगह अधिकतर अधिकारी और कर्मचारी उन्हें अपनी अपनी सीटों से अनुपस्थित मिले।
मुख्य सचिव ने कार्यालय के अधिकांश अधिकारियों एवं कर्मचारियों की अनुपस्थिति पर नाराजगी जताते हुए वेतन कटौती के साथ साथ सख्त विभागीय कार्यवाही के भी आदेश दिए। अधिकारियों को लेकर तिवारी ज्यादा नाराज दिखे। इसलिए उन्होंने शिथिल विभागीय नियंत्रण एवं अनुशासनहीनता के तहत इन अधिकारियों के खिलाफ सख्त विभागीय कार्रवाई के आदेश दिए हैं।
जिन गैर हाजिर अधिकारियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई के आदेश जारी हुए हैं उनमें कई अपर आयुक्त एवं अपर निबंधक शामिल है। गैर हाजिर अपर आयुक्तों में शिवेंद्र कुमार, आलोक कुमार, कृपा शंकर, आरके सिंह शामिल हैं। जबकि वित्तीय सलाहकार पीके अग्रवाल, उप आयुक्त आरके कुलश्रेष्ठ, अशोक कुमार, सहायक आयुक्त श्रद्धा अनंग, अभय सिंह, मोहसिन, स्वाति अग्रवाल, रामसागर भी अनुपस्थित पाए गए।