इनपुट-अखिल तिवारी
चौरी- चौरा की घटना 4 फरवरी को घटी थी और उस घटना स्वतंत्रता संग्राम को नई दिशा दी और शहीद हुए क्रांतिवीरों को नमन करते हुए उनके सम्मान में कार्यक्रम आयोजित किया गया,कार्यक्रम में वर्चुअल रूप से प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी भी सम्मलित हुए।
प्रधानमंत्री मोदी ने चौरी- चौरा में शहीद क्रांतिवीरों को याद करते हुए श्रद्धांजलि दी, साथ उन्होंने इस घटना को स्वतन्त्रा संग्राम के बदलाव की नई दिशा बताते हुए कहा कि 100 साल पहले चौरी-चौरा की घटना जिसमे आगजनी हुई वह आम घटना नही थी,चौरी चौरा का सन्देश बहुत व्यापक था साथ ही उन्होंने इस घटना को ऐतिहासिक बताते हुए प्रसंसनीय बताया।
चौरी-चौरा कार्यक्रम को पूरे साल आयोजित करने की बात कही पीएम ने और साथ ही लोकल कला, संस्कृति और आतर्मनिर्भरता से जोड़ने का प्रयास किया गया है।सामूहिक शक्ति का आधार था चौरी-चौरा और यही शक्ति भारत के आत्मनिर्भर का मूलभूत अधिकार है।
आगे पीएम ने कोरोना काल का भी जिक्र किया कि महामारी के दौरान किस तरह हमारे देश के किसान डटे रहे और किसानों ने रिकॉर्ड उत्पादन करके दिखाया। आगे उन्होंने कहा मंडिया किसानों के फ़ायदे का बाजार बने और इसके लिए 1000 और मंडियों को ई-नाम से जोड़ा जाएगा।ग्रमीण इलाकों के लिए इंफ्रास्ट्रेक्चर फंड को बढ़ा कर 40,000 करोड़ रुपये किया गया है।
साथ ही सीएम योगी ने भी कार्यक्रम में शिरकत की और भारत माता की जय वन्देमातरम से उदबोधन किया,अमर सेनानियों को नमन किया और चौरी-चौरा कांड के इतिहास के बारे में बताया।आगे उन्होंने कहा भारत आत्मनिर्भर की ओर तेजी से बढ़ रहा है जिसका मुख्य कारण स्वच्छता,स्वदेशी,स्वालम्बन है।साथ ही हमने शताब्दी वर्ष का "लोगो" जारी किया है,यह सेनानियों के भाव के साथ ओतप्रोत है।