आपको बता दे की सबर्ण के 16.5 वोट का 80फ़ीसदी वोट जनतादल यूनाइटेड से सिफ़्त हो चुका हैं .जो नीतीश से नाख़ुश हैं बड़े शराब कारोबारी बालू कारोबारी सेटिंग कारोबारी के विकल्प को भी मुख्यमंत्री ने चूर्ण कर दिया .राजपुत देवता ब्रमभन समाज के साथ भुमिहार का वोट बीजेपी राजद को फ़िर पड़ेगा .
नीतीश के पास 7:5 और इधर उधर बाले वोट हैं .बिहार विकास के रास्ते पर हैं पर जातीय बीमारी के कारण सब का विकास नहीं हो पाया हैं .अब नए चित पट के कारण पहले पासवान को लान डोरी .फ़िर सेंट्रल मिनिस्ट्री मैं लव को जग़ह दिलाना .कुश को बिहार लव कुश को एक साथ रहने के लिए दौरा करबाना .कल को बीजेपी का साथ नहीं रहे पर लोग अपने जमात के साथ रहे यही सोच है .
रहीं राजीव रंजन उर्फ ललन सिंह की बात तो 3 बार सांसद १ बार बिहार सेंट्रल मिनिस्टी बिहार स्टेट चीफ का अनुभब हैं .पर भूमिहार का वोट नहीं दिला पाने के कारण नीतीश ने वेटिंग लिस्ट लगबया .पहले राजपूत को भी यूज़ किया प्रभु नाथ सिंह आंनदमोहन को साइड किया .समाज के वोट पाने के लिए नए को मौका दिया गया .पर बूढ़ा शेर का दाहर नया क्या जाने .
अब समय जब पलटी मरेगा तो नीतीश को राजनीत मे लव कुश ही काम आएगा .श्रीमान आपने बिहार को राजनीत का नया स्कूल बना दिया .