यूपी की राजधानी लखनऊ में विधायक निवास के आसपास समेत कई जगहों पर समाजवादी पार्टी के नेता विकास यादव ने विवादित पोस्टर लगवाएं है। समाजवादी छात्र सभा के नेता विकास यादव की तरफ से लगवाये गए इन पोस्टर्स में योगी ब्राह्मणों के ऊपर फरसा ताने खड़े हुए हैं जबकि अखिलेश यादव को मुकुट पहनाकर उन्हें बचाने वाला दिखाया गया है। पोस्टर में भगवान परशुराम का भी चित्र है।
पोस्टर में कोविड महामारी के दौरान भ्रष्टाचार का भी आरोप -
लखनऊ की दीवारों पर लगाएं गए पोस्टर में किनारे पर एक कार्टून बनाया गया है, इसमें सफेद कोट पहने व्यक्ति मरीज का इलाज कर रहा है। ऑक्सीजन सिलेंडर के रूप में सीएम योगी की तस्वीर लगाई गई है। जिसके ऊपर ‘कोविड महामारी की आड़ में धन की उगाही’ स्लोगन लिखा है। पोस्टर में भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष जे.पी.नड्डा और यूपी के डिप्टी सीएम केशव मौर्या की तस्वीर भी लगाई गई है।
मुकदमा होगा दर्ज -
विवादित पोस्टर लगाने वाले विकास यादव के ऊपर पुलिस ने मुक़दमा दर्ज कर लिया है। विकास यादव के साथ साथ पुलिस उस प्रिंटिंग प्रेस वाले पर भी कार्यवाही करने जा रही है जहां यह विवादित पोस्टर छापे गए है। राजधानी लखनऊ में इससे पहले भी वीवीआईपी इलाकों में विवादित पोस्टर लगाए थे। 16 जून 2020 को राजधानी लखनऊ में वीवीआईपी गेस्ट हाउस की दीवार पर विवादित पोस्टर लगाए गए थे। यह पोस्टर 69 हजार सहायक शिक्षक भर्ती और पशुधन विभाग में टेंडर घोटाले को लेकर थे। इन 10 विवादित पोस्टरों में इसे लगाने वाले का नाम नहीं था। इनमें सीएम योगी आदित्यनाथ और कैबिनेट मंत्री सिद्धार्थ नाथ सिंह के साथ आरोपियों की फोटो को दिखाया गया था। कुछ ही देर बाद पुलिस ने पोस्टर हटवा दिए थे।