निश्चित रूप से ये समय आने वाले इतिहासका वो स्वर्णिम पन्ने लिखेगा जो ऐसे महापुरुषों और महान नारियो से भरा होगाजिन्होंने अपने व् अपने परिवार से बढ़ कर इस देश और देशवासियों को माना औरकर्तव्यनिष्ठा की पेश की मिसाल. ये ही नजारा देखने को मिला है छत्तीसगढ़ में जहाँपर एडिशनल एस पी अमृता जी ने देश ही नहीं बल्कि दुनिया का मन मोह लिया है.
रायपुर की सड़कों परवे जब कोविड 19 संक्रमण से बचाव के लिए लॉकडॉउन को सख़्तीसे लागू करने की व्यवस्था को चेक करने निकलती हैं तो लोग चौंकते हैं। पर तुरंत हीउन्हें सैल्यूट करने से लोग खुद को रोक नहीं पाते। सात महिने की गर्भवती एडिशनलएसपी अमृता सोरी ध्रुव को कर्तव्य निभाते देखना दूसरों के लिए किसी प्रेरणा से कमनहीं है।UCAW में अतिरिक्त पुलिस अधिक्षक अमृता सोरीध्रुव दिन में ऑफिस में बैठकर जवानों की तैनाती व्यवस्था को तय करने में भुमिकानिबाहती है तो रोज शाम को वे यह चेक करने निकलती हैं कि जवानों को कोई दिक़्क़त तोनहीं है.. और वे अपना दायित्व पूरी सतर्कता से निभा रहे हैं या नही।
इस मामले में खुद एडिशनल एस पी अमृता जी के अनुसार - “ मैं बस अपना काम करती हूँ जो कि SSP सर देते हैं, काम ही करना है न.. बचाव ही सुरक्षाहै.. हम चाहते हैं कि लोग घरों पर रहें.. बेवजह ना निकले.. यह काम सड़कों पर मौजुदजवान सुनिश्चित करते हैं.. मैं उनके साथ होती हूँ.. बल्कि सच कहूँ तो मैं इनजवानों के मुक़ाबले कम ही करती हूँ.. मैं देखती हूँ कि जवानों ने खाना खाया यानही.. उन्हें कोई दिक़्क़त नहीं तो नही”